नगर की अधिकांश सड़कें चलने योग्य नहीं, फिर भी चलना जनता की मजबूरी : सर्वे

नगरपालिका के जिम्मेदारों ने ही लूट ली नगर की अज़मत
मनावर। मप्र – अक्सर जनता नगर निकाय के चुनाव में अपने जनप्रतिनिधि को अपने क्षेत्र के बेहतर विकास एवं रोजमर्रा के कार्यों को पूर्ण करने के लिए सत्ता में लाती है और वही जनप्रतिनिधि आंख पर पट्टी बांध उसी जनता को मुसीबत में डाल दूर भागने लगे तो क्या होगा ?
मनावर धार जिले की प्रमुख तहसील मानी जाती है, यहां तक कि मनावर को जिला बनाने के लिए क्षेत्रीय विधायक डॉ हीरालाल अलावा द्वारा भी भरपूर प्रयास किए जा रहे हैं। साथ मनावर में अरबों रुपए के उद्योग निर्मित हो चुके है। नगरीय जनता को छोड़कर बाहरी ग्रामीण और शहरी लोग भी मनावर में आकर निवासरत हो रहे हैं। क्योंकि बड़े उद्योगों के साथ में व्यवसाय भी शुरू होने लगे हैं। ऐसे में नगर को बेहतर रखरखाव एवं सही रूप से संचालित के लिए एक इंटेलीजेंट योग्य नगर पालिका अध्यक्ष की आवश्यकता थी। पिछले नगर पालिका चुनाव में नगर की जनता ने एक ग्रेजुएट महिला श्रीमती संगीता पाटीदार को देखकर भरपुर मतदान किए, लेकिन नगर की भोली-भाली जनता को यह नहीं पता था कि ग्रेजुएट महिला अध्यक्ष के पीछे उसके अयोग्य पति नगर पालिका को संचालित करेंगे। जिसके परिणाम स्वरुप आज मनावर बर्बादी की कगार पर पहुंच चुका है।

बात करें नगर की सड़कों की तो आपको बता दें कि मनावर में अधिकांश सड़के चलने योग्य ही नहीं है, जब हमारे पत्रकारों की टीम ने नगर का भ्रमण कर नगर के सड़कों की सच्चाई जानना चाही और उन सड़को का सर्वे किया तो देखने को यह मिला कि पिछले शासन में बनी हुई सड़कें ही अभी तक नगर की जनता को चलने के लिए सहायक बनी हुई है। वर्तमान सरकार में नगर की खस्ता हालत हो रखी है, न तो सड़कों का नवीनीकरण हुआ और ना ही उनकी सही रूप से मरम्मत की गई जिसके परिणाम स्वरूप मनावर की जनता को रेंग रेंग कर गुजरना पड़ता है। इसका सबसे बड़ा उदाहरण मनावर न्यायपालिका की मुख्य सड़क है जो अंबेडकर चौराहा से शुरू होकर गोपालपुरा नहर लिंक रोड पर खत्म होती है। आपको बता दें कि मनावर के सभी शासकीय वरिष्ठ अधिकारी भी इसी मार्ग के समीप रहते हैं लेकिन नगर पालिका ने बेशर्मी की हद ही पार कर दी है। वर्षों से टूटी हुई सड़क पर अध्यक्ष या अध्यक्ष पति शिवराम पाटीदार ने कभी मुड़कर नहीं देखा। सत्ता में आने के बाद से ही अध्यक्ष पति में काफी बदलाव आ चुका है जनता से किए गए वादों को पूरा करना तो दूर, जिस जनता ने बहुमत के साथ विजय बनाया उस जनता को चलने का भी सुख प्राप्त नहीं हुआ। फिर वह सड़क सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र जाने वाले मार्ग की हो या नगर के मुख्य मार्गो की सभी का हाल बदतर हो चुका है।
इन्हीं कारणों से कांग्रेस पार्टी नगर पालिका के चुनाव में पिछड़ती दिखाई दे रही है। नपा अध्यक्ष पति शिवराम पाटीदार ने पूरे शहर को तोड़ मरोड़ कर रख दिया जिसका कारण सिर्फ यह है कि, ना उन्होंने नपा अध्यक्ष संगीता पाटीदार को नगरपालिका संचालित करने दी बल्कि खुद की मनमानी के चलते नगर के कई कार्यों में भी रोक लगा दी। आज हालात ऐसे हो गए हैं कि ना तो अधिकारी शहर पर ध्यान दे रहे हैं ना कर्मचारी और जनप्रतिनिधि की तो बात ही छोड़ो। और तो और बीते 4 साल में कई मुख्य नगरपालिका अधिकारी (सीएमओ) के ट्रांसफर भी हो चुके हैं, जिसका कारण प्राप्त जानकारी के अनुसार अध्यक्ष पति शिवराम पाटीदार ही रहा है। सूत्रों से पता चला है कि सीएमओ और नप अध्यक्ष पति की तालमेल नहीं मिलने के कारण कई बार सीएमओ केभी तबादले हो चुके हैं लेकिन नगर की स्थिति वही के वही है।
इस विषय में नगर की जनता संबंधित नगरी प्रशासन मंत्री भोपाल को भी पत्र लिखकर नगर की समस्याओं तथा अध्यक्ष पति के कारनामो से अवगत करा रही है। जिससे कि भोपाल के प्रशासनिक अधिकारियों को मध्य प्रदेश के बहुचर्चित नगर मनावर के भी हालातों से रूबरू किया जा सके। यहां तक कि नगरपालिका के समस्त कार्यों की बारीकी से जांच की जाना चाहिए, ताकि भ्रष्टाचारियों के भ्रष्टाचार का भी पता लगाया लगा जा सके।
आपको अगले अंक में बताएंगे नगर पालिका से जुड़े कई ऐसे कार्यों की कहानी। पढ़ते रहिए एम इंडिया न्यूज